Saturday, 10 November 2012

मुझे लिखने दो

मुझे लिखने दो

मेरे लिए कवितायें
अब तुम मत लिखो.
मुझे लिखने दो.
मेरे लिए चाँद सितारे लाने,
अब तुम मत जाओ,
मुझे जाने दो.
मेरे लिए दर्पण,
अब तुम मत बनाओ,
मुझे बनाने दो.
अब मुझसे तुम्हारी प्रतीक्षा
नहीं होती दोस्त!
अब मेरे कदम खुद ब खुद
बढ़ उठते हैं. अन्जान पथ पर
तुम्हारी तरह.
                                                           ---
मंजू वर्मा

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